नासा (NASA) ने SpaceX के Starship को अपने लॉन्च सर्विसेज कॉन्ट्रैक्ट (NLS II) में शामिल कर लिया है। लेकिन अभी इस व्हीकल को महत्वपूर्ण मिशनों के लिए लॉन्च करने से पहले काफी काम करना बाकी है।
नासा ने 28 मार्च को घोषणा की कि Starship को NASA Launch Services (NLS) II कॉन्ट्रैक्ट में जोड़ा गया है। इस कॉन्ट्रैक्ट का उपयोग नासा अपने कई विज्ञान और खोज मिशनों के लिए लॉन्च सेवाओं को प्राप्त करने में करता है।
Starship का महत्व और अन्य लॉन्च व्हीकल्स
SpaceX के Falcon 9 और Falcon Heavy पहले से ही NLS II का हिस्सा हैं और इनका उपयोग हाल के वर्षों में किया गया है। जैसे कि 11 मार्च को SPHEREx और PUNCH स्पेस साइंस मिशन Falcon 9 से लॉन्च किए गए थे।
अन्य NLS II व्हीकल्स में Blue Origin का New Glenn, Northrop Grumman का Pegasus XL और United Launch Alliance के Atlas 5 और Vulcan Centaur शामिल हैं।
Starship को कैसे मिलेगा पूरा उपयोग?
Starship अभी तक कोई पेलोड ऑर्बिट में नहीं ले गया है, इसलिए यह सभी नासा मिशनों के लिए तुरंत योग्य नहीं है। नासा NLS II के तहत लॉन्च व्हीकल्स को तीन श्रेणियों में रखता है, जो उनके जोखिम स्तर के आधार पर तय होती हैं।
Category 1 "High Risk" व्हीकल्स के लिए होती है, जिनमें नए लॉन्च व्हीकल्स शामिल होते हैं। इनका उपयोग Class D मिशनों के लिए किया जाता है, जो आमतौर पर कम लागत वाले और अधिक जोखिम सहने वाले मिशन होते हैं।
अन्य कैटेगरी और उनकी शर्तें
Category 2 "Medium Risk" व्हीकल्स के लिए होती है, जिनके पास 1 से 6 लगातार सफल लॉन्च होते हैं। यह Class C और Class D मिशनों के लिए उपयोग किया जाता है।
Category 3 "Low Risk" व्हीकल्स के लिए होती है, जिनके पास 3 से 14 सफल लॉन्च होते हैं। यह Class A मिशनों के लिए इस्तेमाल किया जाता है, जिनमें Europa Clipper और Roman Space Telescope जैसे मिशन शामिल हैं।
Blue Origin और New Glenn की स्थिति
Blue Origin ने 17 फरवरी को घोषणा की थी कि उसके New Glenn लॉन्च व्हीकल को NLS II के तहत Category 1 सर्टिफिकेशन मिल चुका है।
Starship का भविष्य में नासा के साथ रोल
भले ही Starship को NLS II में जोड़ा गया है, लेकिन इसका मुख्य उपयोग निकट भविष्य में नासा के Human Landing System (HLS) प्रोग्राम के लिए होगा। SpaceX इसे चंद्रमा पर Artemis 3 और 4 मिशनों के लिए विकसित कर रहा है।
इसके तहत SpaceX ने Federal Communications Commission (FCC) को एक आवेदन दायर किया है, जिसमें Starship के साथ संचार की अनुमति मांगी गई है। यह आवेदन 27 मार्च को औपचारिक रूप से स्वीकृत किया गया।
SpaceX का बयान
SpaceX ने कहा, "हमें गर्व है कि NASA ने Starship लॉन्च व्हीकल और इसके विभिन्न वेरिएंट्स जैसे कि टैंकर, डिपो और Starship Human Landing System को Artemis अभियान में शामिल किया है।"
SpaceX ने यह भी कहा कि Starship का उपयोग अगले-जेनरेशन सैटेलाइट्स और मानवयुक्त स्पेसक्राफ्ट लॉन्च करने के लिए किया जाएगा, जिससे अमेरिका स्पेस में अपनी लीडरशिप बनाए रखेगा।
Starship की ऑर्बिटल योजनाएँ
Starship का लो अर्थ ऑर्बिट में ऑपरेशन 181 से 381 किलोमीटर की ऊँचाई पर होगा, जिसमें 0 से 90 डिग्री तक का झुकाव रहेगा।
SpaceX ने "Final Tanking Orbit" नामक एक खास ऑर्बिट भी बनाई है, जिसमें चंद्र मिशन के लिए ईंधन ट्रांसफर किया जाएगा। यह 281 x 34,534 किलोमीटर की ऑर्बिट होगी।
चंद्रमा और गेटवे मिशन
SpaceX Starship को चंद्रमा के लो लूनर ऑर्बिट में भी ऑपरेट कर सकता है, जो 120 किलोमीटर की ऊँचाई पर होगा। इसके अलावा, इसे "Near Rectilinear Halo Orbit" (3,000 से 70,000 किलोमीटर) में भी उपयोग किया जा सकता है, जिसे नासा Artemis और Lunar Gateway मिशनों के लिए प्लान कर रहा है।
इसे भी पढ़े -SpaceX
ने 28 Starlink V2 Mini Satellites के लॉन्च को रोका